ऊष्मामापी क्या है? (Calorimeter) : परिभाषा, मात्रक |hindi


ऊष्मामापी क्या है? (Calorimeter) : परिभाषा, मात्रक
ऊष्मामापी (Calorimeter) : परिभाषा, मात्रक |hindi

ऊष्मामापी
यह ताँबे का एक बेलनाकार बर्तन होता है। इसमें ताँबे के एक मुड़े तार का विलोडक (stirrer) पड़ा रहता है जिसके द्वारा ऊष्मामापी में भरे द्रव को हिलाकर उसका ताप एक जैसा किया जा सकता है। चूँकि ताँबा ऊष्मा का बहुत अच्छा चालक है, अतः ऊष्मामापी शीघ्र ही अपने अन्दर रखे द्रव के ताप पर आ जाता है। तथा इसकी विशिष्ट ऊष्मा भी कम है, अतः यह द्रव से बहुत थोड़ी ऊष्मा लेकर द्रव के ताप पर आ जाता है।

ऊष्मामापी का जल-तुल्याँक (Water Equivalent of Calorimeter)
जब हम ऊष्मामापी का उपयोग करते समय उसमें कोई गर्म द्रव भरते हैं तो ऊष्मामापी द्रव के ताप पर आने के लिए उससे कुछ ऊष्मा ले लेता है। ऊष्मा की इस मात्रा को ज्ञात करने के लिए हम ऊष्मामापी का जल-तुल्यांक ज्ञात करते हैं। ऊष्मामापी का जल-तुल्यांक जल के उस द्रव्यमान के बराबर है जिसका ताप 1°C बढ़ाने के लिये ऊष्मा की उतनी ही मात्रा की आवश्यकता होती है जितनी कि ऊष्मामापी का ताप 1°C बढ़ाने के लिये आवश्यक है।

माना कि किसी ऊष्मामापी का द्रव्यमान (विलोडक सहित) m ग्राम है तथा उसके पदार्थ की विशिष्ट ऊष्मा s कैलोरी / (ग्राम-°C) है। तब ऊष्मामापी का ताप 1°C बढ़ाने के लिए आवश्यक ऊष्मा = m × s कैलोरी होगी। ऊष्मा की यही मात्रा, m × s ग्राम जल का ताप 1°C बढ़ायेगी। अतः परिभाषा के अनुसार, ऊष्मामापी का जल-तुल्यांक
                         W = m × s ग्राम

ऊष्माधारिता तथा जल-तुल्यांक के संख्यात्मक मान बराबर होते हैं परन्तु इनके मात्रक भिन्न-भिन्न होते हैं। ऊष्माधारिता का मात्रक कैलोरी प्रति °C होता है, जबकि जल-तुल्यांक का मात्रक ग्राम होता है।




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