कृत्रिम हृदय (Artificial Heart) का आविष्कार कब और कैसे हुआ?
कृत्रिम हृदय (Artificial Heart) एक ऐसी मशीन होती है जो शरीर में चारों ओर blood को पंप करने का काम करती है। इसे प्राकृतिक हृदय को बदलने के लिए डिज़ाइन किया गया है जब यह heart failure जैसी स्थितियों के कारण heart सही से काम नहीं करता है। इस Artificial heart का आविष्कार Paul Winchell (1922-2005) ने किया था जो एक अमेरिकी टेलीविजन वेंट्रिलोक्विस्ट थे।
Winchell की मुलाकात सर्जन Dr. Henry Heimlich से हुई थी जिन्होनें chocking के लिए Heimlich maneuver का आविष्कार किया था। Heimlich को उनके ऑपरेटिंग रूम में सर्जरी के दौरान कई कठिनाई का सामना करना पड़ता था जिसे Winchell ने Observe किया और सोचा कि एक कृत्रिम हृदय कठिन Open Heart surgery के दौरान रक्त को लगातार पंप करता रह सकता है। इसके बाद Heimlich की सलाह से, Winchell ने एक कृत्रिम हृदय डिजाइन करके अपना पहला प्रोटोटाइप बनाया। जिसका पेटेंट उन्हें 1963 में मिला।
पेटेंट मिलने के बाद विनचेल ने अपने डिज़ाइन के rights Utah विश्वविद्यालय को दान कर दिए, जिससे रॉबर्ट जार्विक और अन्य लोगों को कृत्रिम हृदय बनाने की इजाजत मिल गई, इस heart को Jarvik-7 कहा गया। जार्विक के एक ऐसा Artificial Heart बनाया जो ovoid shape का था और असानी से मानव छाती के अंदर फिट हो सकता था। इसे बनाने के लिए इन्होनें Polyurethane material का उपयोग किया।
Jarvik-7 में दो पंप (ventricles की तरह) होते हैं और प्रत्येक में डिस्क के आकार का तंत्र होता है जो रक्त को inlet valve से outlet valve तक धकेलता था। पहला Artificial Heart implant 2 दिसंबर 1982 को Dr. Willem Devries द्वारा सेवानिवृत्त दंत चिकित्सक Dr. Barney Clark में किया गया था। जिसके बाद यह 112 दिनों तक जीवित रहे थे।
कृत्रिम हृदय का उपयोग heart failure वाले रोगियों को जीवित रखने के लिए किया जाता था जब तक कि उन्हें कोई donor ना मिल जाए। आजकल की आधुनिक devices बहुत छोटी होती हैं जिन्हें blood को संग्रहित करने की आवश्यकता नहीं होती क्योंकि blood को शरीर के चारों ओर निरंतर स्थायी रूप से प्रसारित करने के लिए flow-impeller pump का इस्तेमाल किया जाता है।
कृत्रिम हृदय का उपयोग heart failure वाले रोगियों को जीवित रखने के लिए किया जाता था जब तक कि उन्हें कोई donor ना मिल जाए। आजकल की आधुनिक devices बहुत छोटी होती हैं जिन्हें blood को संग्रहित करने की आवश्यकता नहीं होती क्योंकि blood को शरीर के चारों ओर निरंतर स्थायी रूप से प्रसारित करने के लिए flow-impeller pump का इस्तेमाल किया जाता है।
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