तत्वों का प्रतीक (Symbol of Elements): परिभाषा, कुछ रासायनिक तत्वों की सूची
तत्वों का प्रतीक की परिभाषा (Definition of symbol of elements)
यह तो हम सभी जानते हैं कि पदार्थ परमाणुओं से मिल कर बने होते हैं तथा किसी एक ही तत्व के सभी परमाणु एक समान होते हैं। तत्वों को साधारणतया उनके नाम के पूर्ण रूप का प्रयोग न करके उनके संक्षिप्त रूप का प्रयोग करके प्रदर्शित किया जाता है। तत्वों को संक्षिप्त रूप में उनके अंग्रेजी या लैटिन के नाम के प्रारम्भ के एक या दो अक्षर लिख कर प्रदर्शित किया जाता है। किसी तत्व के पूर्ण नाम के संक्षिप्त रूप को उस तत्व का प्रतीक कहते हैं। यह तत्व की एक निश्चित मात्रा को प्रदर्शित करता है जो कि उस तत्व के एक परमाणु के भार के बराबर होती है। उदाहरण के लिए सोडियम को उसके लैटिन नाम Natrium के प्रथम दो अक्षर Na लिख कर निरूपित किया जाता है। अतः Na, सोडियम का प्रतीक है जो कि सोडियम के एक परमाणु को प्रदर्शित करता है।प्राचीन काल में यूनानी वैज्ञानिक तत्वों को संक्षिप्त रूप में निरूपित करने के लिए कुछ चिन्ह प्रयोग में लाते थे। बाद में जॉन डाल्टन ने भी विभिन्न तत्वों के लिए विभिन्न चिन्हों का प्रयोग किया। जैसे-जैसे नये तत्वों का अविष्कार होता गया, चिन्ह पद्धति का प्रयोग करने में तथा चिन्हों को याद रखने में कठिनाई आती गई।
तत्वों के प्रतीक लिखने की वर्तमान प्रणाली स्वीडन के सुप्रसिद्ध वैज्ञानिक जे० जे० बर्जीलियस ने सन् 1814 में प्रस्तुत की थी। इस प्रणाली के अनुसार हाइड्रोजन, ऑक्सीजन, कार्बन और आयोडीन को उनके अंग्रेजी नाम के पहले अक्षर (क्रमश: H, O, C और I) से प्रकट किया जाता है तथा सोडियम, आयरन, कैल्सियम और कॉपर को उनके अंग्रेजी या लैटिन नाम के पहले दो अक्षरों (क्रमश: Na, Fe, Ca और Cu) से प्रकट किया जाता है। यदि प्रतीक दो अक्षरों द्वारा प्रदर्शित किया जाता है तो पहला अक्षर अंग्रेजी का कैपिटल अक्षर तथा दूसरा अक्षर अंग्रेजी का छोटा अक्षर होता है।
कुछ प्रमुख तत्वों के परमाणु क्रमांक, प्रतीक, नाम तथा परमाणु भार की सूची -
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- किसी तत्व का परमाणु भार, उस तत्व के एक परमाणु के भार से सम्बन्धित एक संख्या है। हाइड्रोजन का परमाणु भार 1.008 है। हाइड्रोजन के एक परमाणु का भार 1.008amu होता है।
- किसी तत्व के प्रतीक से उस तत्व के एक परमाणु का बोध होता है। अधिकांश तत्वों के परमाणु स्वतन्त्र अवस्था में नहीं रह सकते हैं तथा परस्पर संयुक्त करके अणु बनाते हैं। अतः भाषा में प्रतीकों का प्रयोग नहीं करना चाहिये। उदाहरणार्थ- हाइड्रोजन के लिए भाषा में H का प्रयोग नहीं करना चाहिये क्योंकि हाइड्रोजन गैस परमाणुओं की अवस्था में न होकर अणुओं की अवस्था में होती है।
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