Ancylostoma duodenale का निदान, रोगजनन, उपचार, नियंत्रण
ऐस्कैरिस लम्ब्रीक्वॉएडिस (Ascaris Lumbricoides) एक गोल कृमि है जो Nematoda संघ में पाया जाता है। यह मनुष्य की छोटी आंत में एक सामान्य परजीवी के रूप में रहता है। इस लेख में हम इसके बारे में विस्तार से जानेंगे।
प्रभाग (Section): स्यूडोसीलोमैटा (Pseudocoelomata)
संघ (Phylum): निमैटोडा (Nematoda)
गण (Order): ऐस्कैरॉइडिया (Ascaroidea)
श्रेणी (Genus): ऐस्कैरिस (Ascaris)
वर्गीकरण (Classification)
प्रभाग (Section): स्यूडोसीलोमैटा (Pseudocoelomata)
संघ (Phylum): निमैटोडा (Nematoda)
गण (Order): ऐस्कैरॉइडिया (Ascaroidea)
श्रेणी (Genus): ऐस्कैरिस (Ascaris)
निदान (Diagnosis)
हुकवर्म संक्रमण का निदान संक्रमित व्यक्ति के मल के नमूने में hyaline 'अंडों' की उपस्थिति से किया जाता है।
रोगजनन (Pathogenesis)
रोगजनन का प्रभाव काफी व्यापक होता है, जो त्वचा, फेफड़ों और छोटी आंत को प्रभावित करता है। इनमें घुसने वाले लार्वा त्वचा पर विशिष्ट, छोटे और खुजली वाले घाव पैदा करते हैं, जिन्हें dew sores या ground itch कहा जाता है और इससे त्वचा में सूजन हो जाती है।
Ancylostoma duodenale के Migratory larvae से फेफड़ों में, पेटेशियल ब्लीडिंग (petechial haemorrhages) और ब्रोंकियल निमोनिटिस (bronchial pneumonites) होता है। लेकिन सबसे ज़्यादा नुकसान छोटी आंत में वयस्क कीड़ों से होता है। यहाँ, यह वयस्क हुकवर्म आँतों में घाव कर देते हैं जिनसे कुछ समय तक खून बेहता रहता है, जिससे कीड़ों के इस्तेमाल से ज़्यादा खून की हानि होती है। इससे गंभीर एनीमिया, सामान्य प्रतिरक्षा में कमी और मलाशय से खून आने की समस्या होती है। आंतों के घावों से कई प्रकार के हानिकारक संक्रमण भी हो सकते हैं।
इन हुकवर्म के सिर वाले हिस्से में कई ऐसी ग्रंथियां मौजूद होती हैं जिनके हानिकारक टॉक्सिन निकलते है। इन टॉक्सिन्स से पेट दर्द, भोजन में गड़बड़ी, दस्त, कब्ज, सांस लेने में तकलीफ, दिल की धड़कन बढ़ना, ईोसिनोफिलिया, कमजोरी और बेहोशी जैसी समस्याएं पैदा होने लगती हैं।
इसके संक्रमण से बच्चों और किशोरों में मानसिक और शारीरिक विकास धीमा हो जाता है। इसमें मरीज पेट दर्द से राहत पाने के लिए कुछ भी खाता है, यहां तक कि गंदगी भी, इसलिए इसे "गंदगी खाने वाले" (dirt-eating disorder) भी कहा जाता है। अगर संक्रमण पर नियंत्रण न रखा जाए तो यह दिल, लिवर और किडनी में फैटी डिजेनरेशन (fatty degeneration) का कारण बन सकता है, जिससे मौत भी हो सकती है।
उपचार (Therapy)
Ancylostoma duodenale हुकवर्म का संक्रमण होने पर उपचार में कार्बन टेट्राक्लोराइड (carbon tetrachloride), थाइमोल, चेनोपोडियम तेल (oil of chenopodium), हेक्सिलरेसोरसिनोल (hexylresorcinol) जैसी दवाएं दी जाती हैं। सबसे आम तौर पर टेट्राक्लोरोएथिलीन (tetrachloroethylene) या ब्लेफेनियम (blephenium) दवा की सलाह दी जाती है क्योंकि यह बहुत असरदार होती है और इसकी टॉक्सिसिटी भी कम होती है। उपचार के बाद, मरे हुए कीड़ों को बाहर निकालने के लिए सफाई की जाती है। एनीमिया के कारण हीमोग्लोबिन की कमी को दूर करने के लिए आमतौर पर रोगी को आयरन की दवा दी जाती है।
*यह दवाएं सिर्फ शिक्षण के लिए हैं इनका इस्तेमाल किसी बीमारी के उपचार के लिए न करें।
नियंत्रण (Control)
हुकवर्म (Ancylostoma duodenale) के शरीर में प्रवेश करने से जो रोग होता है उससे शरीर को काफी नुकसान होता है और यह स्वास्थ्य के लिए भी हानिकारक होता है। इससे बचने के लिए तथा इसकी रोकथाम के लिए प्रभावित क्षेत्रों में जूते पहनना और मानव मल का उचित तरीके से निपटान करना आवश्यक है, ताकि मिट्टी प्रदूषित न हो।
कुछ अन्य हुकवर्म
Nector americanus- इंसानों में पाए जाने वाला एक और महत्वपूर्ण हुकवर्म "न्यू वर्ल्ड हुकवर्म" या Necator americanus है, जिसका मतलब है "American killer"। यह अफ्रीका, एशिया, श्रीलंका और उष्णकटिबंधीय अमेरिका में इंसानों में हुकवर्म रोग या Necatoriasis का कारण बनता है। माना जाता है कि यह अमेरिका में, गृहयुद्ध से पहले, मध्य और दक्षिणी अफ्रीका से आए संक्रमित गुलामों के साथ आया था। इसकी खोज सबसे पहले 1902 में स्टाइल्स ने की थी।
Necator americanus, Ancylostoma duodenale से छोटा होता है। इसमें वयस्क मादा की लंबाई 10 मिमी होती है, जबकि नर और भी छोटा होता है। Buccal capsule में एक जोड़ी ventral plates और एक जोड़ी अपेक्षाकृत छोटी dorsal plates होती है, जिन पर दांत नहीं होते, जबकि एनसाइलोस्टोमा में दांत होते हैं। प्लेटों का हर जोड़ा अर्धचंद्र आकार का होता है, इसलिए इन्हें semilunar plates कहा जाता है। प्लेटों के अलावा, buccal capsule के आधार में एक पृष्ठीय शंकु (dorsal cone) और दो जोड़ी lancets भी होते हैं। Necator की bursa, Ancylostoma की bursa से लंबी और पतली होती है। मादा necator एक दिन में लगभग 15,000 अंडे दे सकती है। इसकी बाकी की संरचना जैसे जीवन चक्र, निदान, रोगजनकता, उपचार और रोकथाम, Ancylostoma के समान ही होते हैं।
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